देहरादून! दामाद का चालान बचाने के चक्कर में ससुर को गवानी पड़ी जान।

कभी कभी छोटे लालच के चक्कर में हमें भारी नुकसान उठाने पड़ते हैं। ऐसा ही वाकया हुआ जब बाइक पर ट्रिपल सवारी की कार्रवाई से बचने के चक्कर में एक बुजुर्ग की मौत हो गई। आशा रोड़ी चेकपोस्ट पर तड़के चेकिंग को देखते हुए दामाद ने बुजुर्ग ससुर को पैदल आगे मिलने की बात कही, लेकिन बुजुर्ग जंगल में रास्ता भटक गए। सुबह मिले तो तबियत खराब होने के कारण कुछ देर में ही उन्होंने दम तोड़ दिया। जिससे पूरा परिवार चौक में है।

मिली जानकारी के अनुसार पटेलनगर के लोहिया नगर निवासी तौहीद मंगलवार तड़के तीन बजे अपनी पत्नी और ससुर नसीम के साथ मोटरसाइकिल पर देहरादून से सहारनपुर जा रहे थे। आशा रोड़ी चौकी पर चेकिंग को देखते हुए उसने अपने ससुर नसीम को वन विभाग की चौकी से पहले उतार दिया और जंगल के रास्ते भेजकर चौकी से आगे मिलने को कहा। उसके बाद तोहीद पत्नी के साथ मोटरसाइकिल से आशा रोड़ी चौकी से आगे पहुंच गया। काफी देर इंतजार के बाद जब ससुर नहीं पहुंचे तो उनकी तलाश शुरू की। थाना क्लेमेनटाउन पुलिस को इसकी सूचना दी।

पुलिस ने वन विभाग की टीम के साथ बुजुर्ग की तलाश में जंगल में कॉबिंग की। लेकिन, रात में उनका कहीं पता नहीं चला। डीआईजी अरुण मोहन जोशी ने बताया कि गुमशुदा नसीम के परिजनों ने बुधवार दोपहर बताया कि सुबह 10:30 बजे नसीम उन्हें जंगल में भटकते मिल गए थे। नसीम ने उनसे पीने के लिए पानी मांगा। कुछ समय बाद उनकी तबियत खराब हुई और मौत हो गई। पुलिस ने शव कब्जे में लेकर जांच के लिए भेज दिया। बताया जा रहा है कि नसीम लंबे समय से दिल की बीमारी से ग्रसित भी थे। प्रथम दृष्टया बीमारी के चलते मौत होना प्रतीत हो रहा है।

क्लेमेंटटाउन क्षेत्र में हुई बुजुर्ग की मौत बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। पुलिस किसी की दुश्मन नहीं है। यातायात नियमों का पालन कराने के पीछे मकसद आप सब की सुरक्षा है। नियमों का पालन कर हादसों को टाला जा सकता है। लोग पुलिस से डरकर इस तरह का कोई कदम न उठाएं, जिससे इस तरह की अनहोनी की पुनरावृत्ति हो।
– अरुण मोहन जोशी, डीआईजी

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